Home खास खबर बिहार में सड़कों पर उतरे स्टूडेंट, बोले- 60 के नाम काटे, न टीचर ने बात सुनी, न प्रिंसिपल कुछ सुनने को तैयार

बिहार में सड़कों पर उतरे स्टूडेंट, बोले- 60 के नाम काटे, न टीचर ने बात सुनी, न प्रिंसिपल कुछ सुनने को तैयार

3 second read
Comments Off on बिहार में सड़कों पर उतरे स्टूडेंट, बोले- 60 के नाम काटे, न टीचर ने बात सुनी, न प्रिंसिपल कुछ सुनने को तैयार
0
120

बिहार में सड़कों पर उतरे स्टूडेंट, बोले- 60 के नाम काटे, न टीचर ने बात सुनी, न प्रिंसिपल कुछ सुनने को तैयार

बिहार हाजीपुर में माध्यमिक विद्यालय में 60 छात्र को नाम कटने और 12 वीं की सेंटाप परीक्षा में छात्रों को शामिल नहीं किये जाने पर छात्रों ने मंगलवार को विद्यालय के बाहर जमकर हंगामा किया। हाजीपुर कोनहारा घाट रोड़ को बांस बल्ली से घेरकर बंद कर दिया।

 

बिहार के हाजीपुर टाउन उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में 60 छात्र को नाम कटने और 12 वीं की सेंटाप परीक्षा में छात्रों को शामिल नहीं किये जाने पर छात्रों ने मंगलवार को विद्यालय के बाहक जमकर हंगामा किया। हाजीपुर कोनहारा घाट रोड़ को बांस बल्ली से घेरकर बंद कर दिया। साथ ही स्कूल प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी शुरु कर दिया। घटना की सूचना पाकर तुरंत नगर थाने की पुलिस अधिकारी मौके से पहुंचकर अक्रोशित छात्रों को समझा बुझाकर मामल शांत करवा दिया है।

उपस्थिती कम होने से काटा नाम

विद्यालय प्रशासन ने बताया कि छात्र लगातार स्कूल में अनुपस्थित पाए जा रहे थे। नाम काटने से पहले विद्यालय के शिक्षकों द्वारा छात्रों के परिजन को सूचित कर दिया गया था, कि यदि छात्र लगातार अनुपस्थित रहेंगे, तो उनकों  परीक्षा में बैठने नही दिया जाएगा। इसके बावजूद छात्र स्कूल में उपस्थिति दर्ज नही करवा रहे थे।  इसी को लेकर शिक्षा विभाग के आदेश पर स्कुल से नाम काटकर छात्रों को घर का रास्ता दिखा दिया गया है।

नाम कटने से गुस्सायें छात्रों ने किया हंगामा

विद्यालय द्वारा नाम काटने  पर अक्रोशित छात्र ओम प्रकाश चौधरी ने कहा, कि शिक्षक द्वारा सेंटेप एक्जाम देने नही दिया जा रहा है। छात्रों ने अनुपस्थिती का एफिडेविट बनवाकर स्कूल में दिया था। इसके बावजूद भी एग्जाम में बैठने नहीं दिया गया है। छात्र ने बताया कि वैशाली जिलाधिकारी के पास दो-दो बार गए थे। लेकिन छात्र की बात को अनसुना किया जा रहा है।

जब प्रिंसिपल साहब के ऑफिस में बात करने जाते हैं। बोलते हैं “आई कमिंग सर” – तो जवाब आता है “नो कमिंग” और शिक्षक बात तक नहीं करते हैं। इसी बात से नाराज होकर आज भारी संख्या में पहुंचे छात्रों ने हंगामा खड़ा कर दिया कल से एग्जाम शुरू हुआ है और एग्जाम में बैठने तक नहीं दिया जा रहा है यह 11th का एग्जाम स्कूल में हो रहा है, एग्जाम में शामिल होने पर बच्चों का 2 साल का भविष्य खराब हो जाएगा और उन्हें फिर एक साल तक इंतजार करना होगा।

75% से कम अटेंडेंस होने पर एग्जाम कैंसिल

बिहार में पिछले दिनों शिक्षा विभाग के द्वारा पत्र जारी कर कहा गया था, कि यदि  75% से कम अटेंडेंस  होगी, तो एग्जाम में शामिल नहीं होने दिया जाएगा। जिसको देखते हुए स्कूल के प्रिंसिपल के द्वारा बच्चों का नाम काट कर हटा दिया गया है।

 

Load More Related Articles
Load More By Seemanchal Live
Load More In खास खबर
Comments are closed.

Check Also

BPSC 71वीं परीक्षा कैलेंडर जारी, 1264 पदों पर होगी भर्ती, DSP के लिए नए पद जोड़े गए

पटना, बिहार: बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) ने 2025 के लिए 71वीं संयुक्त प्रतियोगिता परीक्षा स…