मुजफ्फरपुर में मंदबुद्धि लड़की से दुष्कर्म, पंचायत ने ‘आबरू की कीमत’ तय करने की कोशिश की
मुजफ्फरपुर से एक बेहद शर्मनाक और हिला देने वाली घटना सामने आई है, जहाँ एक मंदबुद्धि लड़की के साथ दुष्कर्म किया गया। मामले को और भी भयावह बना देने वाली बात यह है कि स्थानीय पंचायत ने अपराध को गंभीरता से लेने के बजाय पीड़िता की “आबरू की कीमत” तय करने की कोशिश की।
ग्रामीणों के अनुसार, घटना सामने आने के बाद पीड़िता के परिवार ने पंचायत के सामने न्याय की गुहार लगाई, लेकिन पंचायत ने अपराध की निंदा करने के बजाय आरोपी पक्ष से आर्थिक ‘मुआवजा’ तय करने की कोशिश की।
पुलिस ने त्वरित कार्रवाई की, आरोपी गिरफ्तार
जब मामला प्रशासन के संज्ञान में आया तो पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते हुए आरोपी को गिरफ्तार कर लिया।
पुलिस अधिकारियों का कहना है कि:
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पीड़िता का मेडिकल परीक्षण कराया गया
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आरोपी को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया
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पंचायत की भूमिका की भी जांच की जा रही है
इस घटना ने ग्रामीण क्षेत्रों में पंचायत न्याय प्रणाली की कार्यप्रणाली और संवेदनशील मामलों को संभालने की क्षमता पर बड़े सवाल खड़े कर दिए हैं।
पंचायत की भूमिका पर उठे सवाल
इस मामले ने एक बार फिर यह उजागर किया है कि कई ग्रामीण पंचायतें अभी भी संवेदनशील अपराधों, विशेषकर लैंगिक हिंसा, को गंभीरता से नहीं लेतीं।
कानूनी विशेषज्ञों का कहना है कि:
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पंचायतें आपराधिक मामलों में फैसला सुनाने की अधिकारिक संस्थाएँ नहीं
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ऐसे मामलों में सिर्फ पुलिस और कोर्ट की भूमिका मान्य
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आर्थिक मुआवजा तय करना कानूनन अवैध
समाजसेवी संगठनों ने भी इस घटना की कड़ी निंदा की है और पीड़िता को न्याय दिलाने की मांग की है।
स्थानीय प्रशासन भी सतर्क
जिला प्रशासन ने पंचायत के व्यवहार पर रिपोर्ट मांगी है। अधिकारियों ने कहा है कि ऐसे मामलों में समझौता कराना या ‘कीमत’ तय करना न सिर्फ अनैतिक बल्कि कानूनन भी दंडनीय है।



