बिहार में बन रहा दुनिया का सबसे बड़ा नेत्र अस्पताल
बिहार के सारण जिले के मस्तिचक में एक ऐसी ऐतिहासिक परियोजना शुरू हुई है, जो न सिर्फ राज्य बल्कि पूरे भारत और दुनिया के लिए गर्व का कारण बनेगी।
1000 बेड का दुनिया का सबसे बड़ा नेत्र अस्पताल यहाँ मार्च 2027 तक बनकर तैयार होगा।
इसकी सालाना क्षमता होगी:
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3 लाख आई सर्जरी
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19 अत्याधुनिक ऑपरेशन थिएटर
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50 आई एग्जामिनेशन रूम
सबसे बड़ी खासियत यह है कि यहाँ सभी सर्जरी मुफ्त होंगी, ताकि गरीब और वंचित वर्ग के लोगों को दृष्टि वापस मिल सके।
मस्तिचक बना ऐतिहासिक स्थल
भूमि-पूजन का कार्यक्रम माता भगवती देवी के अवतरण दिवस पर हुआ।
बिहार के उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने शिलान्यास करते हुए कहा:
“यह न सिर्फ बिहार बल्कि पूरे भारत के लिए गौरव का क्षण है।”
मुफ्त सर्जरी: गरीबों के लिए वरदान
ग्रामीण और गरीब मरीजों को अब दिल्ली या मुंबई जैसे बड़े शहरों में जाने की जरूरत नहीं होगी।
यहाँ सभी सर्जरी निःशुल्क होंगी।
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लाखों लोगों को आँखों की रोशनी वापस मिलेगी।
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आर्थिक बोझ कम होगा।
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ग्रामीण इलाकों में विश्वस्तरीय सुविधा उपलब्ध होगी।
अस्पताल का सफर: छोटे मंदिर से विश्वस्तरीय केंद्र तक
स्थानीय विधायक कृष्ण कुमार मंटू ने याद दिलाया कि इसकी शुरुआत तालाब किनारे एक छोटे से मंदिर के कमरे से हुई थी।
आज यह संस्था दुनिया का सबसे बड़ा आई हॉस्पिटल बनने की दिशा में आगे बढ़ रही है।
FAQs (अक्सर पूछे जाने वाले सवाल)
Q1. अस्पताल कब तक तैयार होगा?
➡ मार्च 2027 तक यह पूरा बनकर तैयार हो जाएगा।
Q2. क्या यहाँ सभी सर्जरी मुफ्त होंगी?
➡ हाँ, गरीब और वंचित वर्ग के लिए सभी आई सर्जरी निःशुल्क होंगी।
Q3. किन जिलों में विस्तार होगा?
➡ भोजपुर, भागलपुर, पूर्णिया, समस्तीपुर और यूपी के बलिया में विस्तार किया जाएगा।
Q4. किस संस्था ने सहयोग दिया है?
➡ इस परियोजना में शंकरा आई फाउंडेशन, यूएसए ने सहयोग दिया है।
Q5. गरीब मरीजों को कैसे लाभ मिलेगा?
➡ ग्रामीण इलाकों में ही विश्वस्तरीय सुविधा उपलब्ध होगी, जिससे उन्हें बड़े शहरों में जाने की जरूरत नहीं होगी।
Q6. बिहार को इससे क्या फायदा होगा?
➡ बिहार स्वास्थ्य सेवा में आत्मनिर्भर बनेगा और नेत्र चिकित्सा के क्षेत्र में भारत का नेतृत्व करेगा।
निष्कर्ष
मस्तिचक में बन रहा यह 1000 बेड का नेत्र अस्पताल सिर्फ ईंट-पत्थरों की इमारत नहीं है, बल्कि यह लाखों आँखों में रोशनी भरने का संकल्प है।
यह परियोजना बिहार को वैश्विक स्तर पर आई केयर का मॉडल बनाएगी और गरीबों के लिए जीवनदान साबित होगी।



