Home खास खबर पटना रैली में फिर नहीं मिली पप्पू यादव को मंच पर जगह, नाराजगी से INDIA गठबंधन को पड़ सकता है बड़ा झटका

पटना रैली में फिर नहीं मिली पप्पू यादव को मंच पर जगह, नाराजगी से INDIA गठबंधन को पड़ सकता है बड़ा झटका

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बिहार की राजधानी पटना के गांधी मैदान में सोमवार को आयोजित INDIA गठबंधन की विशाल जनसभा में एक बार फिर पूर्णिया के सांसद पप्पू यादव को मंच पर जगह नहीं मिली।
रैली में राहुल गांधी और तेजस्वी यादव सहित कई बड़े नेता मौजूद थे, लेकिन पप्पू यादव को मंच पर बैठने की अनुमति नहीं दी गई।

मायूस होकर पप्पू यादव ने आम जनता की तरह मैदान के किनारे एक कुर्सी डालकर नेताओं के भाषण सुने। इस दौरान उनका वीडियो और तस्वीरें तेजी से वायरल हो गईं।

 आम आदमी की तरह बैठे पप्पू यादव

जब पप्पू यादव ने मंच पर जाने की कोशिश की तो आयोजकों ने उन्हें रोक दिया।
काफी देर तक उन्होंने मंच पर चढ़ने के लिए विनती भी की, लेकिन कोई बात नहीं बनी।
इसके बाद उन्होंने जमीन पर आम कार्यकर्ताओं के बीच कुर्सी डालकर भाषण सुनना शुरू किया।
कुछ देर तक माथे पर हाथ रखकर बैठे रहे और जब राहुल गांधी का भाषण चल रहा था, तब वे वहां से उठकर चले गए।

 

 राहुल गांधी की गाड़ी में भी नहीं मिली जगह

रैली के बाद एक और घटना ने पप्पू यादव की नाराजगी और बढ़ा दी।
बताया जाता है कि जब राहुल गांधी रैली स्थल से बाहर निकले, तो उनकी गाड़ियों के काफिले में पप्पू यादव को भी शामिल होना था।
लेकिन राहुल गांधी की टीम की एक महिला कार्यकर्ता ने उन्हें गाड़ी में बैठने से मना कर दिया।
इसके बाद वे पीछे हट गए और काफी नाराज दिखे।

 ‘रॉबिनहुड’ इमेज वाले पप्पू यादव की अनदेखी

पूर्णिया से निर्दलीय सांसद बने पप्पू यादव को बिहार की जनता ‘रॉबिनहुड’ कहकर बुलाती है।
उन्होंने सांसद बनने के बाद कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण कर ली और लगातार पार्टी के लिए काम भी कर रहे हैं।
इसके बावजूद हर बड़े राजनीतिक मंच पर उन्हें हाशिये पर रखा जाता है।

राजनीतिक विशेषज्ञ मानते हैं कि पप्पू यादव जैसे बड़े नेता की लगातार अनदेखी INDIA गठबंधन के लिए नुकसानदायक साबित हो सकती है।

 राजनीतिक हलकों में चर्चा

  • समर्थक पप्पू यादव के साथ हुए इस व्यवहार को गठबंधन की गुटबाजी बता रहे हैं।

  • विपक्षी दल इसे INDIA गठबंधन की कमजोरी के रूप में पेश कर रहे हैं।

  • कई लोग मान रहे हैं कि अगर यह नाराजगी बढ़ी, तो पप्पू यादव का गुस्सा चुनावी समीकरण बदल सकता है।

 निष्कर्ष

पटना की इस घटना ने साफ कर दिया है कि INDIA गठबंधन की अंदरूनी कलह थमने का नाम नहीं ले रही।
अगर पप्पू यादव जैसे जनाधार वाले नेता की अनदेखी जारी रही, तो इसका असर बिहार की राजनीति और आने वाले लोकसभा चुनावों पर गहरा पड़ सकता है।

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